विदेशी मामलों पर नजर रखने वाली देश की प्रमुख गुप्तचर एजेंसी ‘रॉ’ (Research and Analysis Wing) के प्रमुख रहे अनिल धस्माना को राष्ट्रीय तकनीकी अनुसंधान संगठन (National Technical Research Organization, NTRO) के प्रमुख के रूप में नियुक्त किया गया है। वह दो साल के लिए NTRO के प्रमुख होंगे। यह एक तरह की गुप्तचर एजेंसी है, जो तकनीकी माध्यमों से जमीन से आसमान तक विभिन चीजों पर नजर रखती है। इसे ‘तीसरी आँख’ भी कहा जाता है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता वाली कैबिनेट की नियुक्ति समिति ने धस्माना के नाम पर मुहर लगायी है। मूल रूप से उत्तराखंड के पौड़ी (गढ़वाल) के निवासी धस्माना, 1981 बैच के मध्य प्रदेश कैडर के आईपीएस अधिकारी रहे हैं।
उन्हें पाकिस्तान मामलों का विशेषज्ञ माना जाता है। उनके पास पाकिस्तान और अफगानिस्तान में काम करने का व्यापक अनुभव है। वे फरवरी 2019 में किये गए बालाकोट एयर स्ट्राइक के प्रमुख रणनीतिकारों में से एक रहे हैं।
धस्माना 23 साल तक रॉ में रहे। दिसंबर 2016 में उनको रॉ का प्रमुख नियुक्त किया गया था। उनकी सेवानिवृति दिसंबर 2018 में थी। मगर केंद्र सरकार ने मई 2019 में लोकसभा चुनाव के मद्देनजर उनको 6 माह का विस्तार दे दिया था।