आयकर विभाग ने जम्मू-कश्मीर के एक होटल व्यवसायी इकबाल शेख के श्रीनगर, गुलमर्ग, सोनमर्ग और पहलगाम स्थित होटलों के अलावा उसके लेह में निर्माणाधीन होटल में छापेमारी और जब्ती की बड़ी कार्रवाई की है। होटल व्यवसायी को जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. फारुख अब्दुल्ला का रिश्तेदार बताया जा रहा है। इसके अलावा आयकर विभाग ने श्रीनगर के एक ज्वेलर्स के यहाँ भी छापेमारी कर अघोषित संपत्ति के दस्तावेज बरामद किये हैं। सूत्रों के मुताबिक इस कार्रवाई में टेरर फंडिंग की दृष्टि से भी जांच की जा रही है।
गुरुवार को वित्त मंत्रालय द्वारा जारी एक विज्ञप्ति में बताया गया है कि होटल व्यवसायी के यहाँ छापेमारी के दौरान विभाग को जालसाजी के साक्ष्य के तौर पर कई दस्तावेज़ एवं अन्य वस्तुएँ मिली हैं, जिसके आधार पर पिछले छः वित्तीय वर्षों में होटल एवं आवास निर्माण में अवैध निवेश समेत लगभग 25 करोड़ की सम्पत्तियों को ज़ब्त कर लिया है। होटल कारोबारी ने वर्ष 2014-15 से किसी भी तरह के कर का भुगतान नहीं किया है। सभी निवेश नकद या अज्ञात श्रोतों से किए गए हैं।
छापेमारी के दौरान आयकर विभाग को व्यवसायी के यहाँ 25 करोड़ के असुरक्षित लोन से जुड़े कागजात मिलें हैं। व्यवसायी ने पिछले दो वर्षों में ऐसे लोगों से यह ऋण प्राप्त किए गए हैं, जिनके ऋण देने का औचित्य संदिग्ध है। विभाग के मुताबिक प्रथम दृष्ट्या यह सभी लोन अवैध प्रतीत होते हैं, क्योंकि यह ऐसे व्यक्तियों से लिए गए हैं जिनकी वित्तीय साख स्वयं संदिग्ध है।
छापेमारी में यह भी पता चला कि कारोबारी के बच्चे अमरीका में पढ़ रहे हैं, जिन पर प्रति वर्ष लगभग 25 लाख रूपये का खर्च आ रहा है। अमरीका में बच्चों की शिक्षा पर खर्च किए जा रहे इस पैसे के बारे में भी प्रथम दृष्ट्या कोई स्पष्टीकरण नहीं मिला है। यह व्यवसायी अपनी माँ के साथ ट्रस्ट के रूप में एक बी-एड कॉलेज चला रहा है। यह ट्रस्ट पंजीकृत नहीं है और ट्रस्ट का रिटर्न भी नहीं भरा जा रहा है। जबकि इससे होने वाली आय व्यापक कर योग्य आय है। व्यवसायी ने आयकर अधिकारियों के सामने यह भी स्वीकार किया है कि उसने अपने आवासीय भवन की मरम्मत पर 40 लाख रूपये खर्च किए हैं। जांच के दौरान एक बैंक लॉकर का भी पता चला है, जिसे अघोषित रखा गया था।
आयकर विभाग ने एक अन्य मामले में श्रीनगर के एक जौहरी के यहाँ भी छापेमारी की है। जांच में पाया गया कि गहनों के कारोबारी ने अपने व्यापार के बही खाते का हिसाब नहीं रखा है, जिसके पिछले वर्षों में व्यवसाय का आंकलन 2 से 10 करोड़ के बीच लगाया गया है।
जांच के दौरान अधिकारियों को एक अघोषित बैंक खाते का भी पता चला है जिसमें जौहरी ने करोड़ों रुपये जमा किए हैं, लेकिन इससे जुड़े कर का भी भुगतान नहीं किया गया है। उसने वित्तीय वर्ष 2015-16 में श्रीनगर में अपनी एक अचल संपत्ति 1.90 करोड़ में बेची थी। लेकिन इससे जुड़े कैपिटल गेन कर का भी भुगतान नहीं किया था।
जांच के दौरान अधिकारियों को वित्तीय वर्ष 2019-20 में लीज़ पर दी गई दुकान की पगड़ी के रूप में लिए गए 16 लाख रुपए की रसीद भी प्राप्त हुई है। इस नकद लेन-देन की जानकारी छिपाई गयी थी। अधिकारियों को इस दौरान ज्वेलर्स की पत्नी द्वारा दिल्ली में बेचे गए एक फ्लैट के बारे में भी पता चला, जिसका लेनदेन भी छिपाया गया है। जांच के दौरान यह भी खुलासा हुआ है कि आरोपी की बेटी विदेश में रह कर पढ़ाई कर रही है। लेकिन उस पर आने वाले खर्च का ब्यौरा भी छिपाया गया है। विभाग के मुताबिक मामले में जांच जारी है।