दून विश्वविद्यालय में शुरू होगा हिंदू अध्ययन का एमए कोर्स..
उत्तराखंड: बनारस हिंदू विश्वविद्यालय और दिल्ली विश्वविद्यालय के बाद अब जल्द ही उत्तराखंड के दून विश्वविद्यालय में हिंदू स्टडीज का कोर्स संचालित किया जाएगा। जिस दिशा में दून विश्वविद्यालय ने तैयारियां तेज कर दी है। संभावना जताई जा रही है कि इसी साल 2025 में शुरू होने वाले नए शैक्षिक सत्र से ही हिंदू स्टडीज का मास्टर कोर्स संचालित कर दिया जाएगा। इसके लिए बाकायदा एक अलग से हिंदू स्टडीज विभाग भी बनाया जा रहा है। इसके साथ ही दून विश्वविद्यालय, बीएचयू और डीयू में संचालित कर रहे हिंदू स्टडीज प्रोग्राम के फैकल्टी से सिलेबस तैयार कराएगा।
दून विश्वविद्यालय में हिंदू स्टडीज कोर्स शुरू किए जाने की तैयारियां जोरों शोरों पर चल रही है। हिंदू स्टडीज कोर्स की खास बात ये है कि छात्रों को हिंदू धर्म के साथ पुरातन विद्या-विज्ञान, धर्म-विज्ञान, हिंदू धर्म शास्त्र, प्राचीन परंपरा की जानकारी दी जाएगी। बता दे कि विश्वविद्यालय अनुदान आयोग यानी यूजीसी ने सबसे पहले हिंदू अध्ययन में पोस्ट ग्रेजुएट डिग्री के लिए एक सिलेबस जारी किया था। इसके बाद बीएचयू और डीयू ने हिंदू स्टडीज की ओर अपने कदम बढ़ाए। साथ ही कोर्स का संचालन भी शुरू किया। वहीं अब दून विश्वविद्यालय ने भी हिंदू स्टडीज कोर्स संचालित करने की तैयारियों में जुटा हुआ है।
हिंदू स्टडीज कोर्स में छात्र छात्राओं को क्या पढ़ाया जाएगा, इसको लेकर लोगों में तमाम की जिज्ञासाएं हैं। लेकिन दून विश्वविद्यालय से मिली जानकारी के अनुसार हिंदू स्टडीज कोर्स में बच्चों को रामायण, महाभारत, वेद, वेदांत, वेदांग, ज्ञान मीमांसा, भाषा विज्ञान, कालिदास, तुलसीदास, आर्य समाज, बुद्ध, जैन, स्वामी विवेकानंद के जीवन से परिचय कराया जाएगा। साथ ही इनके सिद्धांतों के बारे में भी बच्चों को शिक्षा दी जाएगी। इसके साथ ही हिंदू साहित्य, भूगोल, प्राचीन सैन्य विज्ञान, हिंदू केमिस्ट्री, स्थापत्य कला, पुरातत्व, कला, शास्त्रीय संगीत और नाटक की विधाएं भी बताई जाएगी।
दून विश्वविद्यालय की कुलपति प्रोफेसर सुरेखा डंगवाल का कहना हैं कि उत्तराखंड मंत्रिमंडल ने ये तय किया था कि दून यूनिवर्सिटी में हिंदू स्टडीज का एक डिपार्टमेंट खोला जाएगा। ऐसे में जुलाई महीने से शुरू हो रहे आगामी शैक्षिक सत्र 2025-26 से मास्टर्स इन हिंदू स्टडीज का कोर्स शुरू किया जाएगा। हालांकि काशी हिंदू विश्वविद्यालय में साल 2021 में सबसे पहले एमए हिंदू स्टडीज का कोर्स शुरू किया गया था। इसके बाद साल 2023 में दिल्ली यूनिवर्सिटी में हिंदू स्टडीज के लिए पोस्टग्रेजुएट और पीएचडी का प्रोग्राम शुरू किया गया था। ऐसे में बीएचयू और डीयू में हिंदू स्टडीज का कोर्स चला रहे लोगों से बातचीत चल रही है।
डंगवाल का कहना कि दून यूनिवर्सिटी में हिंदू स्टडी के लिए सिलेबस तैयार किया जाना है, जिसके लिए जल्द ही सिलेबस फाइनल कमेटी गठित कर ली जाएगी। जिसमें बीएचयू और डीयू के लोगों को भी बुलाया जाएगा, जो हिंदू स्टडीज का सिलेबस तैयार करेंगे। साथ ही कहा कि नई शिक्षा नीति 2020 के तहत हिंदू स्टडीज विभाग इसलिए भी महत्वपूर्ण है, क्योंकि एनईपी में भाषा और भारतीय ज्ञान परंपरा पर जोर दिया गया है। लेकिन अभी तक भारतीय ज्ञान परंपरा को कोई भी विश्वविद्यालय बेहतर ढंग और विस्तृत रूप से पढ़ा नहीं पा रहा है। जबकि यूजीसी ने नेट एग्जाम में भी हिंदू स्टडीज विषय को शुरू किया है।
ऐसे में अब हिंदू स्टडीज के लिए जो टीचर मिलेंगे वो भी काफी क्वालीफाइड होंगे। साथ ही दून के पूरे कैंपस में जो भारतीय ज्ञान परंपरा का कंपोनेंट (भौतिक और रसायन विज्ञान) है, उसको एक करके इसकी जानकारी हिंदू स्टडीज विभाग को दी जा सकती है। साथ ही कहा कि जल्द भी हिंदू स्टडीज का सिलेबस भी फाइनल कर लिया जाएगा। हाल ही में राज्य सरकार ने हिंदू स्टडीज विभाग में पोस्ट के लिए पत्र भी भेजा था, जिसके तहत विभाग में पोस्ट का खाका तैयार कर लिया गया है। ऐसे में अगले सत्र के बाद हिंदू स्टडीज विभाग में परमानेंट टीचिंग फैकल्टी पढ़ाएगी। फिलहाल 20 सीटों के साथ एमए इन हिंदू स्टडीज को शुरू किया जा रहा है। जिसको जरूरत के अनुसार बढ़ाया जा सकता है।