चमोली में गहरी खाई में गिरी कार,1 मौत,3 घायल..
उत्तराखंड: प्रदेश में कई जगह सड़कों की हालत खराब हो चुकी है जिससे आवाजाही करने वालों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। वाहन चालक आए दिन इन सड़क पर हादसे का शिकार होकर अस्पताल का मुंह देख रहे हैं। बारिश के चलते सड़कों पर सफर जोखिम भरा बना हुआ है। सड़कों की हालत खराब है, जिससे आए दिन हादसे हो रहे हैं।
बीती रात जूनीधार में गोठिण्डा-पार्था मोटर मार्ग पर बड़ा कार हादसा हो गया। यहां एक कार गहरी खाई में जा गिरी। हादसे में एक कार सवार की मौत हो गई, जबकि तीन लोग गंभीर रूप से घायल हैं। घायलों को इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है। हादसा गोठिण्डा में हुआ। पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार ऑल्टो कार यूके 11 ए 3508 थराली से गोठिंडा जा रही थी। कार में ड्राइवर समेत कुल 4 लोग सवार थे।
गोठिण्डा में जूनियर हाईस्कूल के पास पहुंचते ही चालक कार को बैक करने की कोशिश कर रहा था, इसी कोशिश में कार सीधे गहरी खाई में जा गिरी। हादसा होते ही मौके पर चीख-पुकार मच गई। स्थानीय लोग तुरंत मौके पर पहुंचे और पुलिस को इस घटना की सूचना देने के साथ ही बचाव कार्य शुरू कर दिया। हादसे में हरिराम पुत्र उमेद राम उम्र 50 वर्ष की मौके पर ही मौत हो गई। जबकि तीन लोग गंभीर रूप से घायल हुए हैं। घायलों में 40 वर्षीय कुंदन राम, 25 वर्षीय चंदन राम और 52 वर्षीय दिक्की राम शामिल हैं। पुलिस के अनुसार घायलों की हालत गंभीर बनी हुई है। उन्हें इलाज के लिए थराली के अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
भाजपा नेता के घर पर देर रात हुआ धमाका, इलाके में हड़कंप..
उत्तराखंड: नैनीताल भाजपा जिलाध्यक्ष प्रदीप बिष्ट के घर पर मंगलवार देर रात धमाका होने से हड़कंप मच गया है। भाजपा जिलाध्यक्ष प्रदीप बिष्ट के हीरानगर आवास में मंगलवार देर रात करीब साढ़े 12 बजे तेज धमाका हुआ। इससे घर का मुख्य गेट, दरवाजे व खिड़कियां ध्वस्त हो गईं हैं। बुधवार की सुबह डीआईजी नीलेश आनंद भरणे विस्फोट के बाद मुआयना करने पहुंचे। वहीं कैबिनेट मंत्री बंशीधर भगत और मेयर जोगेंद्र पाल सिंह रौतेला भी उनके आवास पर पहुंचे। धमाका होने के कारणों की जांच की जा रही है।
मौके पर मौजूद जिलाधिकारी धीराज सिहं गर्ब्याल का कहना हैं कि जांच के बाद ही धमाके के कारणों का पता चल पाएगा। जांच में फॉरेंसिक टीम की भी मदद ली जा रही है। पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार मंगलवार रात साढ़े बजे जोरदार धमाका हुआ। जिससे घर की खिड़कियां और दरवाजे उखड़कर दूर गिर गए।
एक कमरे की दीवार भी क्षतिग्रस्त हो गई है। मामले की सूचना मिलते ही एसपी सिटी, सीओ हल्द्वानी, एसडीएम मनीष सिंह, सिटी मजिस्ट्रेट रिचा सिंह मौके पर पहुंचे। उक्त घटना को लेकर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने भी संज्ञान लिया है। उन्होंने डीआईजी को जांच के आदेश देकर खुद भी जिलाध्यक्ष से बात की है।
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक ने भी जिलाध्यक्ष से बात की है। वहीं प्रदीप बिष्ट का कहना है कि धमाका कैसे हुआ कुछ पता नहीं। लेकिन नुकसान बहुत हुआ है। जांच के बाद ही स्थिति स्पष्ट हो सकेगी। आसपास के लोगों का कहना हैं कि देर रात तेज धमाका हुआ। लगा कि कहीं जैसे बम फटा हो। सभी लोग घरों से बाहर निकले तो प्रदीप बिष्ट के घर के दरवाजे व खिड़कियां गिरी पड़ी थी।
विधानसभा चुनाव को लेकर दिखाई देने लगा मंत्रियों-विधायकों पर परफॉर्मेंस का दबाव..
उत्तराखंड: प्रदेश में जैसे-जैसे विधानसभा चुनाव नजदीक आ रहे हैं, सत्तारूढ़ भाजपा के मंत्रियों और विधायकों पर परफॉर्मेंस का दबाव साफ नजर आ रहा है। कहीं अफसरशाही की मनमानी के खिलाफ खुलकर नाराजगी दिख रही है तो कहीं अपनी ही पार्टी के नेताओं से विधायक की तकरार सामने आ रही है।
सियासी जानकारों का कहना है कि आने वाले दिनों में मंत्रियों और विधायकों पर यह दबाव और ज्यादा दिखाई देगा। कैबिनेट मंत्री सतपाल महाराज, यशपाल आर्य, सुबोध उनियाल, हरक सिंह रावत और बंशीधर भगत से जुड़े कई बयान और वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुए, जिनमें वे अपने विभागों और जन सरोकारों से जुड़े मुद्दों को लेकर अफसरों को फटकार रहे हैं।
कैबिनेट मंत्री महाराज का अफसरों को फटकारते वीडियो वायरल हुए। देहरादून में एनएच मार्ग में खराब काम को लेकर वह अधिकारियों की जमकर क्लास लेते नजर आए तो यूएस नगर में एक अफसर को उन्होंने खुली बैठक में खूब फटकार लगाई। वही कैबिनेट मंत्री सुबोध उनियाल ने पिछले दिनों राजकीय उद्यानों को पीपीपी मोड पर देने के प्रस्ताव में ढिलाई को लेकर अफसरों को अल्टीमेटम दिया कि 15 दिन में सुधार नहीं हुआ तो उनके खिलाफ कार्रवाई होगी।
बात अगर करे सौम्य माने जाने वाले यशपाल आर्य की तो वो भी पिछले दिनों गुस्से में दिखे। उन्होंने नैनीताल में एक विभाग के अधिकारी को लापरवाही के लिए जमकर फटकार लगाई। इसके साथ ही कैबिनेट मंत्री बंशीधर भगत भी ऊर्जा निगम के अधिकारियों के खिलाफ कार्यकर्ताओं के साथ धरने पर बैठ गए। पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने भगत के धरने में शामिल होने के बहाने सरकार पर तंज भी किया।
कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत ने पिछले दिनों विधानसभा टिहरी जिले के मसलों को लेकर विधानसभा एक बैठक बुलाई। तैयारी के साथ न आने पर उन्होंने अधिकारियों की जमकर क्लास ली और कहा कि वे दाल-भात खाने नहीं आए हैं। मंत्री रेखा आर्य ने महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास विभाग की योजनाओं को लेकर अफसरशाही की हीलाहवाली को लेकर मुख्य सचिव डॉ. एसएस संधू को पत्र लिखकर खुलकर नाराजगी जाहिर की।
साथ ही धर्मपुर से भाजपा विधायक विनोद चमोली सिस्टम के खिलाफ खुलकर नाराजगी जाहिर करते दिखाई दिए। दो दिन पहले चमोली अपने विधानसभा क्षेत्र में कुछ सड़कों के चौड़ीकरण के मामले में हो रही देरी से नाराज थे। सड़क निर्माण की मांग को लेकर कुछ लोग जब उनके आवास पर धरना देने पहुंचे तो चमोली भी उनके साथ बैठ गए। उन्होंने चेतावनी दी थी कि सड़क का प्रस्ताव मंजूर नहीं हुआ तो वे क्षेत्र के लोगों के साथ सचिवालय में धरना देंगे।
रायपुर से भाजपा विधायक उमेश शर्मा काऊ तो अपनी ही पार्टी के नेताओं से तकरार को लेकर चर्चाओं में हैं। पिछले दिनों कैबिनेट मंत्री धनसिंह रावत की उपस्थिति में काऊ की क्षेत्र के भाजपा नेता के साथ जमकर बहस हुई।
बारिश से बढ़ा टिहरी झील का जलस्तर, खतरे की जद में कई गांव..
उत्तराखंड: भारी बारिश के चलते टिहरी झील का जलस्तर काफी बढ़ गया हैं झील के किनारे बसे गांवों के लोग भी जाग-जागकर रात काटने को मजबूर हैं। झील किनारे स्थित उत्तरकाशी के चिन्यालीसौड़ के कई गांव एक बार फिर खतरे की जद में आ गए हैं। टिहरी झील का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है। लोग आने वाली आपदा की आशंका से डरे हुए हैं। पहाड़ में हो रही भारी बारिश से न सिर्फ नदियां उफान पर हैं, आपको बता दे कि टिहरी बांध की झील का पानी भी 828 यूआरएल मीटर बढ़ गया है।
इससे टिहरी के अलावा उत्तरकाशी के कई गांव खतरे की जद में आ गए हैं। चिन्यालीसौड़ के आसपास के इलाकों में स्थित आवासीय कॉलोनियों में रहने वाले लोग डर की वजह से रात-रातभर सो नहीं पाते। स्वास्थ्य केंद्र, वाल्मीकि बस्ती, नागणीसौड़, पीपलमंडी, ऊर्जा निगम स्टोर, वन विभाग आदि स्थानों पर भवनों में दरार आने के कारण खतरा बढ़ गया है। स्थानीय लोगों का कहना हैं कि झील का जलस्तर बढ़ते ही कई स्थानों पर कटाव होना शुरू हो जाता है।
साल 2010 के बाद ये स्थिति लगातार बनी हुई है। टीएचडीसी और जिला प्रशासन को इस तरफ ध्यान देना चाहिए, लेकिन चिन्यालीसौड़ की सुरक्षा के लिए अब तक कदम नहीं उठाए गए। जो सुरक्षात्मक कार्य हो भी रहे हैं, उनकी रफ्तार बेहद धीमी है। चिन्यालीसौड़ और आसपास के क्षेत्र में टिहरी झील के बढ़ते जलस्तर से सुरक्षा के लिए किए जा रहे निर्माण कार्य पूर्ण नहीं हो पाए हैं। बीते रविवार को भी टिहरी झील का जलस्तर बढ़ने से जोगत रोड के 10 मीटर हिस्से में भूकटाव हो गया।
लोगों में प्रदेश सरकार को लेकर भी नाराजगी है। उनका कहना है कि प्रदेश सरकार ने 830 यूआरएल मीटर जलस्तर भरने का आदेश देकर चिन्यालीसौड़ के लोगों की जान के साथ खिलवाड़ किया है। टीएचडीसी और जिला प्रशासन की लापरवाही के चलते हर वर्ष चिन्यालीसौड़ के लोगों को बढ़ते जलस्तर के कारण परेशानी का सामना करना पड़ता है, लेकिन इसके बावजूद सुरक्षात्मक कार्यों में तेजी लाने के प्रयास नहीं किए जा रहे।
21 सितंबर तक उत्तराखंड में बढ़ा कोविड कर्फ्यू..
उत्तराखंड: प्रदेश सरकार ने कोरोना कर्फ्यू 21 सितंबर तक बढ़ा दिया है। मुख्य सचिव एवं राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के मुख्य कार्यकारी अधिकारी डॉ. सुखबीर सिंह संधू ने कोविड कर्फ्यू के संबंध में सोमवार को नई एसओपी (मानक परिचालन प्रक्रिया) जारी कर दी है। नई एसओपी के तहत अब विवाह समारोह में अधिकतम 50 लोगों के शामिल होने की बाध्यता खत्म कर दी गई है। अब शादी समारोह में अधिक लोग शामिल हो पाएंगे। लेकिन इसके लिए भी जिला प्रशासन से अनुमति लेनी आवश्यक होगी। एसओपी में बाकी नियम और शर्तें पहले जैसी ही रखी गईं हैं।
रात्रि कर्फ्यू जारी रहेगा..
प्रदेश में रात्रि कर्फ्यू जारी रहेगा। बाजार सुबह आठ बजे से रात नौ बजे तक खुलेंगे। नगरीय क्षेत्रों में स्थित होटल रेस्तरां, भोजनालय व ढाबे रात 10 बजे से सुबह छह बजे तक बंद रहेंगे।
ये बंदिशें हैं बरकरार..
1- कोरोना वैक्सीन की डबल डोज लेने के 15 दिन की रिपोर्ट पर राज्य में प्रवेश मिलेगा।
2- कोविड वैक्सीन की डबल डोज न लेने वालों के लिए 72 घंटे की आरटीपीसीआर निगेटिव रिपोर्ट जरूरी।
3- शवयात्रा में भी 50 से अधिक लोग शामिल नहीं हो सकेंगे।
4- दूसरे राज्यों से अपने पैतृक गांव लौटने वाले प्रवासियों के लिए ग्राम प्रधान की निगरानी में आवश्यकतानुसार सात दिन क्वारंटीन सेंटर में एकांतवास में रहेंगे।
प्रदेश में सभी स्पा और सैलून खोलने की अनुमति है। सभी स्पा व सैलून 50 प्रतिशत क्षमता के साथ खुलेंगे। इसके साथ ही जिम, शॉपिंग मॉल, सिनेमा हॉल व स्वीमिंग पूल, मनोरंजन पार्क, थियेटर, ऑडिटोरियम व इनसे संबंधित सभी गतिविधियां 50 प्रतिशत क्षमता के साथ खोलने की अनुमति है। वहीं, सरकार ने होटलों में स्थित कॉन्फ्रेंस हॉल, स्पा व जिम को भी 50 प्रतिशत क्षमता के साथ खोलने की अनुमति दी है। प्रदेश में 18 वर्ष से ऊपर के प्रशिक्षुओं के लिए सरकारी और गैरसरकारी प्रशिक्षण संस्थान कोविड प्रोटोकॉल के अनुपालन के साथ खोलने की अनुमति है।
चुनाव प्रभारी प्रहलाद जोशी का उत्तराखंड दौरा 16 सितंबर से
उत्तराखंड: अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए प्रभारी बनाए गए केंद्रीय संसदीय कार्यमंत्री प्रहलाद जोशी 16 सितंबर को सह प्रभारियों के साथ पहली बार देहरादून आ रहे हैं। अपने दो दिवसीय प्रवास के दौरान वह पार्टी के प्रांतीय पदाधिकारियों, विधायकों, मंत्रियों, विधानसभा प्रभारियों और पार्टी के कोर ग्रुप के साथ चुनाव प्रबंधन को लेकर विचार विमर्श करेंगे।
आपको बता दे कि भाजपा के राष्ट्रीय नेतृत्व ने आठ सितंबर को उत्तराखंड समेत पांच राज्यों के लिए चुनाव प्रभारियों की घोषणा की। उत्तराखंड में केंद्रीय संसदीय कार्यमंत्री प्रहलाद जोशी को चुनाव प्रभारी का दायित्व सौंपा गया, जबकि बंगाल से सांसद लाकेट चटर्जी और भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता सरदार आरपी सिंह को सह प्रभारी बनाया गया। यह दायित्व मिलने के बाद तीनों ही 16 सितंबर की सुबह देहरादून पहुंच रहे हैं।
भाजपा के प्रदेश महामंत्री कुलदीप कुमार ने चुनाव प्रभारी और सह प्रभारियों के दौरे की पुष्टि करते हुए कहा कि 16 व 17 सितंबर को चुनाव प्रभारी छह-सात बैठकों में भाग लेंगे। वह पार्टी के मीडिया और सोशल मीडिया विभाग की बैठकों में भी शिरकत करेंगे।
देवस्थानम बोर्ड को लेकर केदारनाथ में अनशन जारी..
उत्तराखंड: देवस्थानम बोर्ड के विरोध में केदारनाथ में तीर्थपुरोहित समाज का क्रमिक अनशन 28वें दिन सोमवार को भी जारी रहा। वहीं आम आदमी पार्टी के वरिष्ठ नेता कर्नल अजय कोठियाल का कहना हैं कि चारधाम देवस्थानम बोर्ड पर सियासत करने के बजाय सरकार तत्काल बोर्ड को भंग करे। चारधामों के तीर्थपुरोहितों के हितों से खिलवाड़ बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। सरकार बोर्ड के नाम पर तीर्थपुरोहितों के साथ जनता को भी भ्रमित कर रही है।
कर्नल अजय कोठियाल का कहना हैं कि प्रदेश सरकार देवस्थानम बोर्ड को भंग करने के नाम पर कभी पुनर्विचार तो कभी समिति बनाने की बात कह कर तीर्थपुरोहितों को गुमराह कर रही है। देवस्थानम बोर्ड बनाकर सरकार हजारों सालों से चली आ रही सांस्कृतिक परंपराओं पर कानूनी चाबुक चलाना चाहती है।
केदारनाथ धाम में अभी भी तीर्थपुरोहित बोर्ड भंग करने के लिए प्रदर्शन कर रहे हैं। सरकार सेम मुखेम को प्रदेश का छठवां धाम बनाने पर विचार कर रही है। पहले से ही धाम प्रदेश में स्थापित हैं, उनके तीर्थपुरोहितों के हक पर सरकार ने बोर्ड गठित कर डाका डालने का काम किया है। सरकार जल्द ही अध्यादेश लाकर देवस्थानम बोर्ड को भंग करे।
मुख्यमंत्री से वार्ता करने के बाद 13 सितंबर को जिला मुख्यालय रुद्रप्रयाग में प्रस्तावित प्रदर्शन स्थगित कर दिया गया है, लेकिन बोर्ड भंग होने तक केदारनाथ में क्रमिक अनशन जारी रहेगा। तीर्थपुरोहितों का कहना हैं कि सरकार मामले में त्वरित कार्रवाई नहीं करती तो दोबारा उग्र आंदोलन की रणनीति तैयार की जाएगी।
केदारनाथ में केदार सभा के महामंत्री कुबेरनाथ पोस्ती के नेतृत्व में आंदोलन जारी रहा। इस दौरान क्रमिक अनशन पर बैठे आंदोलनकारी तीर्थपुरोहितों का कहना था कि देवस्थानम बोर्ड भंग होने के साथ ही आंदोलन भी खत्म किया जाएगा। उन्होंने सरकार पर बोर्ड गठन के नाम पर चारधाम यात्रा व्यवस्था को प्रभावित करने का आरोप लगाया। उनका कहना हैं कि कोरोनाकाल के चलते दो वर्ष से चारधाम यात्रा ठप है।
इस कारण धामों से जुड़े हक-हकूकधारी, व्यापारी व अन्य लोगों की आजीविका ठप पड़ी है, लेकिन सरकार की ओर से इस दिशा में कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है। उन्होंने जनहित में यात्रा का संचालन शुरू करने की मांग भी की। इस मौके पर राजकुमार शुक्ला, शशि अवस्थी, मनोज तिवारी, विमल तिवारी, रमाकांत शर्मा समेत अन्य मौजूद थे।
इधर, केदार सभा के अध्यक्ष विनोद शुक्ला का कहना हैं कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से हुई वार्ता व सफल आश्वासन के बाद जिला मुख्यालय में प्रस्तावित जुलूस-प्रदर्शन को स्थगित कर दिया गया है, लेकिन केदारनाथ में मांगपूर्ति तक आंदोलन जारी रहेगा।
आज होने वाली महारैली को तीर्थपुरोहितों ने किया स्थगित..
उत्तराखंड: मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की ओर से 30 अक्टूबर तक मामले को सुलझाने के आश्वासन के बाद तीर्थपुरोहितों ने आज होने वाली महारैली को स्थगित कर दिया हैं। तीर्थ पुरोहितों का कहना हैं कि सीएम के आश्वासन के बावजूद तय समय तक मांग पर कार्रवाई नहीं हुई तो आंदोलन को और उग्र किया जाएगा।
आपको बता दें कि, देवस्थानम बोर्ड को भंग करने की मांग को लेकर चारों धामों में तीर्थ पुरोहितों का आंदोलन दो साल से चला आ रहा है। तीर्थ पुरोहितों की मांग है कि देवस्थानम बोर्ड को भंग किया जाए। इस बोर्ड के गठन से तीर्थ पुरोहितों के हक-हकूकों के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है। केदारनाथ यात्रा से घोड़ा-खच्चर, डंडी-कंडी, होटल व्यवसायी जुड़े हैं और देवस्थानम बोर्ड के गठन से मजूदरों और होटल व्यापारियों का इसका बुरा असर पड़ेगा।
उनका कहना हैं कि देवस्थानम बोर्ड को पूर्ण रूप से भंग किया जाए और अगर सरकार ने 30 अक्टूबर तक इसे भंग करने का फैसला नहीं लिया तो तीर्थपुरोहित आंदोलन को और उग्र करेंगे। वहीं, केदारसभा के अध्यक्ष विनोद शुक्ला का कहना हैं कि मुख्यमंत्री से वार्ता के बाद आज होने वाली प्रस्तावित महारैली को स्थगित की गई है। लेकिन केदारनाथ में मांग पूरी होने तक आंदोलन जारी रहेगा।
चारों धामों के तीर्थ पुरोहितों ने मुख्यमंत्री धामी से मुलाकात की..
उत्तराखंड: मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से चारधाम तीर्थ पुरोहित हक-हकूकधारी महापंचायत समिति के प्रतिनिधिमंडल की मुलाकात के बाद 22 महीनों से चल रही धरना स्थगित हो गयी है।शनिवार को देवस्थानम बोर्ड और चार धाम यात्रा को लेकर चारों धामों की पुरोहितों ने मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से मुलाकात की। मुख्यमंत्री के आश्वासन के बाद चारों धामों में देवस्थानम बोर्ड के विरोध में चल रहा धरना स्थगित कर दिया। आपको बात दे कि तीर्थ पुरोहितों ने आगामी 30 अक्टूबर तक धरने को स्थगित किया है। बता दें कि विगत 22 महीने से देवस्थानम बोर्ड को लेकर बद्रीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री और यमुनोत्री धाम में धरना जारी था।
चारधाम देश-दुनिया के लिए आस्था के प्रमुख केंद्र..
मुख्यमंत्री का कहना है कि उत्तराखंड के चारधाम देश-दुनिया के लिए आस्था के प्रमुख केंद्र हैं। सरकार का काम मंदिरों में अवस्थापना विकास को सुदृढ़ बनाना है। चारधाम यात्रा जल्द शुरू हो इसके लिए राज्य सरकार द्वारा लगातार प्रयास किए जा रहे हैं।
चारधाम से जुड़े लोगों के हक-हकूक को किसी भी प्रकार से प्रभावित नहीं होने दिया जाएगा। देवस्थानम बोर्ड के तहत बनाई गई उच्च स्तरीय समिति द्वारा चारधाम से जुड़े तीर्थ पुरोहित की बात सुनकर सरकार के समक्ष अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत करेगी। कमेटी में चारों धामों से दो-दो तीर्थ पुरोहितों को भी शामिल किया जाएगा। कमेटी की रिपोर्ट के बाद सरकार को निर्णय लेना है। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्यहित में जो होगा, वह कार्य किया जायेगा।
बैठक के बाद गंगोत्री मंदिर समिति के अध्यक्ष एवं चारधाम महापंचायत समिति के संयोजक सुरेश सेमवाल ने कहा कि मुख्यमंत्री ने हमें आमंत्रित किया था। मुख्यमंत्री ने कहा कि जो हाई पावर कमेटी बनाई गई है, उसमें समिति की ओर से आठ लोगों को मेंबर बनाया जाएगा। जो रिपोर्ट होगी, उसके आधार पर आगे उचित समाधान निकाला जाएगा। चारधाम महापंचायत समिति द्वारा मुख्यमंत्री को आश्वासन दिया गया है कि हमारा जो भी धरना प्रदर्शन एवं आंदोलन है, हम इसे स्थगित करते हैं। 30 अक्टूबर 2021 तक हमें इसे स्थगित रखेंगे।
पिथौरागढ़ में ट्यूशन से लौट रहे बच्चों की साइकिल 200 मीटर गहरी खाई में गिरी, 1 की मौत..
उत्तराखंड: पिथौरागढ़ जिले में ट्यूशन पढ़ कर साइकिल से घर आ रहे दो छात्र साइकिल समेत 200 मीटर गहरी खाई में गिर गए। इस घटना में एक छात्र की मौत हो गई जबकि दूसरा गंभीर रूप से घायल हो गया साइकिल सहित दो छात्रों के खाई में गिरते ही ग्रामीण मौके पर पहुंचे। सूचना मिलते ही पुलिस और 108 एंबुलेंस भी मौके पर पहुंची और बचाव कार्य में जुट गयी।
जानकारी के अनुसार राज्य के पिथौरागढ़ जिले के थकलानी पभ्या गांव के रहने वाले कक्षा 11 का छात्र 16 वर्षीय सुमित कुमार पुत्र प्रकाश चंद्र और कक्षा नौ का छात्र 15 वर्षीय तनिश कुमार पुत्र शंकर लाल भाटगाड़ा प्रतिदिन घर से ट्यूशन पढऩे आते-जाते हैं। बृहस्पतिवार सायं भी दोनों ट्यूशन पढ़कर घर के लिए वापिस आ रहे थे लेकिन इस बीच अल्मोड़ा बेरीनाग मार्ग पर तहसील मुख्यालय गणाई गंगोली से कुछ दूर जोलियाखेत मोड़ पर साइकिल अनियंत्रित होकर दो सौ मीटर गहरी खाई में जा गिरी।
खाई में गिरे सुमित कुमार की मौके पर ही मौत हो गई। जबकि तनिश कुमार गंभीर रूप से घायल था। घायल को ग्रामीण तत्काल खाई से निकाल कर सड़क तक लाए और 108 की मदद से तनिश को स्थानीय अस्पताल लाया गया और उसकी गंभीर हालत को देखते हुए उसे हल्द्वानी रेफर किया गया।