श्रीदेव सुमन विवि के छात्र अब घर बैठे कर सकेंगे UPSC की तैयारी..
उत्तराखंड: श्रीदेव सुमन विवि व इससे संबद्ध कॉलेजों के छात्र अब घर बैठकर संघ लोकसेवा आयोग (यूपीएससी) की परीक्षाओं की तैयारी कर सकेंगे। इसके लिए विवि में प्रोजेक्ट यूपीएससी शुरू किया गया है। प्राथमिक चरण के तहत इस प्रोजेक्ट में सुपर-39 के लिए चयनित छात्र-छात्राओं को शामिल किया गया है। प्रोजेक्ट के तहत कक्षाएं ऑनलाइन होंगी। पिछले महीने मुरादनगर यूपी की संस्था पावन चिंतन धारा आश्रम ने उत्तराखंड राजभवन में अपना प्रजेंटेशन दिया था। इसमें संस्था ने राज्य भर में संघ लोकसेवा आयोग की परीक्षा की तैयारी कर रहे छात्रों को निशुल्क कोचिंग दिए जाने का प्रस्ताव रखा था। इसके लिए प्रदेश के तीन विश्वविद्यालयों (पंतनगर कृषि विवि, श्रीदेव सुमन विवि व दून विवि) का चयन किया गया था। इन विश्वविद्यालयों का चयन सुपर-39 के लिए भी किया गया है। श्रीदेव सुमन विवि के कुलपति प्रो. एनके जोशी ने बताया कि विवि में प्रोजेक्ट यूपीएससी शुरू कर दिया गया है।
प्रथम चरण के तहत सुपर-39 में चयनित छात्र-छात्राओं को इसमें शामिल किया गया है। प्रो. जोशी ने कहा कि विवि से संबद्ध सभी कॉलेजों को पत्र भेज इस योजना से अपने छात्रों को जोड़ने के लिए कहा गया है। विवि मे प्रोजेक्ट यूपीएससी के निदेशक प्रो. डीकेपी चौधरी का कहना हैं कि प्रोजेक्ट के तहत कक्षाएं सप्ताह में रविवार व शनिवार को सुबह 11 बजे से शाम चार बजे तक संचालित की जा रही हैं। कक्षाएं निशुल्क ऑनलाइन कक्षाएं संचालित की जा रही हैं।
क्या है प्रोजेक्ट यूपीएससी..
प्रोजेक्ट यूपीएससी, आर्थिक रूप से कमजोर बच्चों को सिविल सेवा परीक्षाओं की तैयारी में मदद करने के लिए शुरू किया गया एक प्रोजेक्ट है। इस प्रोजेक्ट के तहत, अनुभवी शिक्षकों और सेवानिवृत्त आईएएस, आईपीएस और पीसीएस अधिकारी निशुल्क ऑनलाइन और ऑफलाइन कोचिंग देते हैं। इसके साथ ही छात्रों की शंकाओं के समाधान के लिए परामर्श सत्र भी आयोजित किए जाते हैं। प्रोजेक्ट यूपीएससी में शामिल होने के लिए, छात्र upsc@ashrampcd.com पर संपर्क करके या 8882918694 पर कॉल करके पंजीकरण करा सकते हैं। पंजीकरण के बाद उम्मीदवारों का चयन करने के लिए एक प्रवेश परीक्षा और साक्षात्कार आयोजित किया जाता है।
श्रीदेव सुमन विवि का दीक्षांत समारोह शुरू, 21230 छात्रों को मिलेगी उपाधि..
उत्तराखंड: श्रीदेव सुमन विवि के पांचवें दीक्षांत समारोह में 21230 छात्र-छात्राओं को स्नातक व परास्नातक की उपाधियां दी जाएंगी। समारोह में 81 छात्र-छात्राओं को स्वर्ण पदक भी दिए जाएंगे। दीक्षांत समारोह के आयोजन के लिए विवि प्रशासन ने सभी तैयारियां पूर्ण कर ली हैं। श्रीदेव सुमन विवि के दीक्षांत समारोह का मंगलवार को पं. ललित मोहन शर्मा परिसर स्थित ऑडीटोरियम में बतौर मुख्य अतिथि पहुंचे कुलाधिपति/राज्यपाल ले. जनरल (सेनि.) गुरमीत सिं और विशिष्ठ अतिथि उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. धन सिंह रावत ने किया।
प्रो. जोशी का कहना हैं कि समारोह में स्नातक व परास्नातक की 21230 उपाधियां बांटी जाएंगी। इसमें 17827 स्नातक व 3403 परास्नातक की उपाधियां शामिल हैं। स्नातक व परास्नातक स्तर पर तीनों संकायों में सर्वोच्च अंक प्राप्त करने वाले छात्र-छात्राओं को श्रीदेव सुमन स्वर्ण पदक, परास्नातक स्तर पर तीन विषयों में सर्वोच्च अंक प्राप्त करने वाले छात्र-छात्राओं को कैप्टन शूरवीर सिंह पंवार पदक व स्नातक स्तर पर वाणिज्य संकाय में सर्वोच्च अंक प्राप्तकर्ता को स्व. नंदराम पुरोहित स्वर्ण पदक से सम्मानित किया जाएगा। इस बार भी दीक्षांत समारोह में स्वर्ण पदक पाने वालों में छात्राएं आगे हैं। 81 स्वर्ण पदक विजेताओं की सूची में 18 छात्र शामिल हैं। जबकि छात्राओं की संख्या 63 हैं। अब तक के चारों दीक्षांत समारोह में स्वर्ण पदक विजेताओं की सूची में छात्राओं का ही बोलबाला है। 81 स्वर्ण पदक विजेताओं की सूची में 18 छात्र शामिल हैं। जबकि छात्राओं की संख्या 63 हैं।
उत्तराखंड दौरे पर RSS प्रमुख मोहन भागवत, मुवानी में किया विद्यालय भवन का लोकार्पण..
उत्तराखंड: राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ (आरएसएस) प्रमुख मोहन भागवत दो दिवसीय उत्तराखंड दौरे के दौरान रविवार को पिथौरागढ़ पहुंचे। डीडीहाट स्थित शेर सिंह कार्की सरस्वती विहार, मुवानी पहुंचने पर उनका भव्य स्वागत किया गया। संघ प्रमुख ने सबसे पहले समाजसेवी स्व. शेर सिंह कार्की की समाधि स्थल के पास चंदन के वृक्ष का पौधरोपण किया। इसके बाद उनकी फोटो में माल्यार्पण कर नव निर्मित शेर सिंह कार्की विद्यालय भवन का दीप जलाकर लोकार्पण किया। लोगों से भरे सभागार को संबोधित करते हुए आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने पहाड़ों से पलायन को रोकने के लिए खेती करने पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि खेती को स्वरोजगार से जोड़कर आत्मनिर्भर बनाया जा सकता है। उन्होंने कहा कि शिक्षा दो तरह की होती है। एक बाहर की शिक्षा और एक अंदर की शिक्षा। शिक्षा मिलने के बाद उसका सटीक उपयोग दूसरे को अच्छी शिक्षा देना हैं।
उनका कहना हैं कि कालांतर में बड़े-बड़े ऋषि और अनपढ़ लोगों ने महान कार्य किए हैं। यदि वे ज्यादा पढ़े लिखे होते तो और महान कार्य करते। विद्या का उपयोग दूसरों को अपनी शिक्षा बांटना, उस शिक्षा से कमाया धन को दान करना और अपनी शक्ति का उपयोग उसकी सुरक्षा के लिए करने से ही शिक्षा का सही सदुपयोग होता है।
आपको बता दे कि मोहन भागवत ने सभी से विद्या भारती द्वारा शिक्षा के क्षेत्र में कर रहे उल्लेखनीय योगदान में अपने-अपने स्तर से अंशमात्र सहयोग करने की अपील की। उन्होंने कहा कि आज पूरा विश्व भारत की कुटुंब व्यवस्था की बात को सही ठहरा रहा है। भारत की प्राचीन वैभव और अध्यात्म से ही आज पूरा विश्व हमें विश्व गुरु मान रहा है। हमारी सम्पूर्ण शिक्षा और स्वरोजगार के मार्ग से ही हम धीरे धीरे विश्व गुरु बनने की दिशा में आगे बढ़ रहे हैं। इस दौरान कार्यक्रम में पूर्व राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी, केंद्रीय राज्यमंत्री अजय टम्टा, डीडीहाट विधायक बिशन सिंह चुफाल समेत कुलपति उत्तराखंड मुक्त विश्वविद्यालय नैनीताल डॉ ओम प्रकाश सिंह नेगी और कई लोग मौजूद रहे।
चिन्यालीसौड़ में वायुसेना का अभ्यास कल से शुरू..
सामरिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है चीन से सटा यह हवाई अड्डा..
उत्तराखंड: वायुसेना के लिए सामरिक दृष्टि से महत्वपूर्ण चिन्यालीसौड़ हवाई अड्डे पर 11 दिवसीय अभ्यास शुरू करने जा रही है, जो 19 नवंबर से शुरू होकर 28 नवंबर तक चलेगा। इस दौरान वायुसेना की ओर से बहुउद्देशीय परिवहन विमान एएन-32 की लैंडिंग और टेकऑफ का अभ्यास किया जाएगा। चीन सीमा से लगे उत्तरकाशी में चिन्यालीसौड़ हवाई अड्डा वायुसेना के लिए सामरिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है। यही वजह है कि इस हवाई अड्डे को वायुसेना पिछले कुछ समय से एडवांस लैंडिंग ग्राउंड के रूप में विकसित करने पर काम कर रही है।
इसी के चलते वायुसेना की ओर से यहां समय-समय पर अपने मल्टीपर्पज विमानों के साथ हेलिकॉप्टरों की लैंडिंग और टेकऑफ का अभ्यास किया जाता है। इस क्रम में मंगलवार से वायुसेना यहां 11 दिनों का अभ्यास शुरू करने जा रही है। इसके लिए वायुसेना के स्क्वाड्रन लीडर मानस सक्सेना की ओर से प्रशासन से संपर्क करते हुए अभ्यास के दौरान दो फायर ब्रिगेड गाड़ियां, डॉक्टर की टीम के साथ एंबुलेंस सहित 10 सुरक्षाकर्मी, रनवे की सफाई व आसपास के पेड़ों की लॉपिंग के लिए पांच कर्मी उपलब्ध कराने की मांग की है। वायुसेना का बहुउद्देशीय परिवहन विमान एएन-32 आगरा एयरबेस से सुबह आठ बजे उड़ान भरकर करीब नौ बजे चिन्यालीसौड़ हवाई अड्डे पर पहुंचेगा।
उत्तराखंड शिक्षा विभाग में त्रिस्तरीय ढांचे का ड्राफ्ट तैयार, केवि की तर्ज पर बनेंगे तीन संवर्ग..
उत्तराखंड: प्रदेश में विद्यालयी शिक्षा के तहत शैक्षणिक संवर्ग का नया त्रि-स्तरीय ढांचा बनाने की तैयारी है। शिक्षा निदेशालय ने इसका ड्राफ्ट तैयार कर इसे मंजूरी के लिए शासन को भेजा है। विभागीय अधिकारियों के अनुसार इसे मंजूरी मिलने पर केंद्रीय विद्यालयों की तर्ज पर त्रि-स्तरीय संवर्ग पीआरटी, टीजीटी और पीआरटी होंगे। बताया गया कि विभाग में शिक्षकों के पदोन्नति के अवसर समाप्त हो रहे थे, जिसे देखते हुए इस तरह का ढांचा बनाया जा रहा है। शिक्षा विभाग में वर्तमान में प्राथमिक और माध्यमिक दो संवर्ग हैं। कक्षा एक से आठवीं तक के शिक्षक प्राथमिक संवर्ग के तहत आते हैं, जबकि कक्षा नौ से 12वीं तक के शिक्षक माध्यमिक संवर्ग के हैं। अखिल भारतीय जूनियर हाईस्कूल शिक्षक संघ के अनुसार प्रदेश में जूनियर हाईस्कूलों के हाईस्कूल में उच्चीकरण से प्राथमिक संवर्ग के शिक्षकों के पदोन्नति के पद खत्म हो रहे हैं।
यही वजह है कि संगठन की ओर से यह मांग की जा रही कि राज्य के जूनियर हाईस्कूलों का अलग से संचालन किया जाए। वहीं जिन विद्यालयों का हाईस्कूल के रूप में उच्चीकरण किया गया है, उनसे जूनियर हाईस्कूलों के शिक्षकों का समायोजन किया जाए। यदि इन स्कूलों का अलग से संचालन नहीं किया जाता तो विभाग का त्रिस्तरीय ढांचा बनाया जाए। अखिल भारतीय जूनियर हाईस्कूल शिक्षक संघ के उपाध्यक्ष सतीश घिल्डियाल के अनुसार राज्य में लगभग 1,500 से अधिक जूनियर हाईस्कूलों का हाईस्कूल के रूप में उच्चीकरण किया जा चुका है, जिससे विभाग में पदोन्नति के पद लगातार खत्म हो रहे हैं।
एससीईआरटी के ढांचे का पुनर्गठन भी प्रस्तावित..
एससीईआरटी के तहत शैक्षणिक संवर्ग के ढांचे के पुनर्गठन के साथ ही अशासकीय विद्यालय के राजकीयकरण का भी प्रस्ताव है। शिक्षा मंत्री डाॅ. धन सिंह रावत ने इस संबंध में विभाग को निर्देश दिए हैं। बताया गया कि इस संबंध में जल्द ही शिक्षा मंत्री की अध्यक्षता में बैठक होनी है। विद्यालयी शिक्षा के त्रि-स्तरीय ढांचे के लिए ड्राफ्ट तैयार कर इसे मंजूरी के लिए शासन को भेजा गया है। इसे मंजूरी मिलने पर विभाग में तीन श्रेणियां पीआरटी, टीजीटी और पीजीटी हो जाएंगी।
रुद्रप्रयाग पहुंचे CM धामी, BJP के पदाधिकारियों एवं कार्यकर्ताओं ने किया जोरदार स्वागत..
उत्तराखंड: सीएम पुष्कर सिंह धामी ने त्रियुगीनारायण मंदिर में पूजा-अर्चना की। इसके बाद वह तीर्थ पुरोहितों के बीच गए और उनसे मुलाकात की। सीएम धामी केदारनाथ विस में सोनप्रयाग, त्रियुगीनारायण और अन्य स्थानों पर प्रचार को पहुंचे हैं। बता दे कि केदारनाथ विधानसभा सीट पर 20 नवंबर को वोटिंग होगी। 23 नवम्बर को मतगणना होगी। लगभग 92 हजार मतदाता वाले केदारनाथ विस में दिवंगत विधायक शैलारानी रावत के निधन के बाद उप चुनाव होगा।
केदारनाथ फतह करने के लिए प्रदेश में भाजपा और कांग्रेस दोनों ही पार्टियों ने पूरा जोर लगाया हुआ है। सीएम धामी स्वयं मोर्चा संभाले हुए हैं। क्षेत्र भ्रमण कर वह लोगों से संपर्क कर रहे हैं। शनिवार सुबह वह त्रियुगीनारायण पहुंचे। जहां उन्होंने लोगों से मुलाकात की। भाजपा ने मंडल से लेकर बूथ स्तर पर एक-एक कार्यकर्ता को जिम्मेदारी सौंपी गई है, जिसकी मॉनीटरिंग की जा रही है। जिला व ब्लॉक स्तर के सभी पदाधिकारियों को दूरस्थ गांवों में जनसंपर्क के लिए कहा है, जिनसे प्रतिदिन की रिपोर्ट मांगी जा रही है।
अपने पक्ष में माहौल बनाने के लिए जोर..
भाजपा इस उप चुनाव में किसी भी स्तर पर कोई कमी नहीं रखना चाहती। सरकार के कैबिनेट मंत्री, विधायक से लेकर जिला स्तरीय पदाधिकारी व कार्यकर्ता केदारनाथ विस के गांव-गांव जाकर एक-एक मतदाता से संपर्क कर रहे हैं। वहीं कांग्रेस ने भी केदारनाथ उपचुनाव के लिए कमर कसी हुई है। कांग्रेस की ओर से जहां आपदा से प्रभावितों की समस्याओं को मुद्दा बनाया जा रहा है। वहीं केदारनाथ प्रतिष्ठा रक्षा यात्रा से भी पार्टी के पक्ष में एक माहौल बनाने की कोशिश की गई।
ज्योतिर्मठ में सुरक्षात्मक कार्यों के लिए 700 करोड़ रुपये की डीपीआर तैयार..
उत्तराखंड: लोक निर्माण विभाग और सिंचाई विभाग की ज्योर्तिमठ में सुरक्षात्मक कार्यों के लिए 700 करोड़ की डीपीआर तैयार हो गई है। पेयजल निर्माण विभाग भी ड्रेनेज सिस्टम आदि के लिए डीपीआर को तैयार करने का काम कर रहा है, इसके भी जल्द तैयार होने की उम्मीद है। अब शासन तैयार डीपीआर को तकनीकी आकलन समिति को भेजने जा रहा है। ज्योर्तिमठ में भूधंसाव समेत समस्या आयी थी। इसके बाद कई विभागों को सुरक्षात्मक कार्याें के लिए अलग- अलग जिम्मेदारी सौंपी गई थी। इसके लिए सिंचाई विभाग, लोक निर्माण विभाग, पेयजल विभाग से लेकर अन्य विभाग काम कर रहे हैं। अब विभागों की डीपीआर तैयार होकर शासन में पहुंच रही है। इसमें लोक निर्माण विभाग ने करीब 600 करोड़ की डीपीआर को तैयार कर भेजा है।
बता दे कि लोक निर्माण विभाग को मुख्य रूप भूधंसाव की दृष्टि से स्लोप स्टेबलाइजेशन का काम करेगा। इसके लिए लोनिवि ने आईआईटी रुड़की के सहयोग से योजना को तैयार किया है। इसके लिए प्रभावित क्षेत्र में 12 साइट का चयन किया गया है। इसमें आठ साइट बेहद क्रिटिकल है, जहां पर प्राथमिकता से काम होना है। लोनिवि अधिकारियों के अनुसार स्लोप स्टेबलाइजेशन के तहत भूमि के अंदर से उसकी भार सहने की क्षमता को भी बढ़ाने का काम होगा, जिससे भार पड़ने पर धंसाव न हो। वहीं सिंचाई विभाग ने भी करीब सौ करोड़ की योजना को तैयार किया है। सिंचाई विभाग अलकनंदा नदी में कटाव को रोकने के लिए काम करेगा।
कार्याें के लिए 1658 करोड़ का बजट
ज्योर्तिमठ में सुरक्षात्मक कार्याें के लिए 1658 करोड़ का बजट रखा गया है। इसमें केंद्र सरकार से 1079 करोड़, 451.80 करोड़ राज्य सरका और 126.41 करोड़ एसडीआरएफ फंड का है। लोनिवि और सिंचाई विभाग की डीपीआर मिल गई है, जिसे टीएसी के लिए भेजा जा रहा है। पेयजल निर्माण विभाग ड्रेनेज समेत अन्य कार्याें के लिए डीपीआर को तैयार कर रहा है, इसके भी जल्द तैयार होने की उम्मीद है। जो डीपीआर प्राप्त हुई है, उसे टीएसी के लिए भेजा जा रहा है।
सैलानियों के लिए खुल गया राजाजी टाइगर रिजर्व..
उत्तराखंड: जैव विविधता से संपन्न राजाजी टाइगर रिजर्व की पर्यटक रेंजों के द्वार शुक्रवार को सैलानियों के लिए खोल दिए गए। मोतीचूर में सुबह करीब सात बजे मंत्रों उच्चारण के साथ पूजन किया गया। वन्य जीव प्रतिपालक हरीश नेगी ने रिबन काटकर पर्यटकों के लिए गेट खोला। इस दौरान पर्यटन व जंगल सफारी के लिए आए रक्षा मंत्रालय नई दिल्ली के 60 सदस्य दल को वनकर्मियों ने तिलक लगाकर व फूल मालाओं से स्वागत किया। पर्यटकों के स्वागत के लिए गेट को फूलमाला से सजाया गया है। वन्यजीव प्रतिपालक हरीश नेगी का कहना हैं कि राजाजी टाइगर रिजर्व प्राकृतिक सुंदरता और विभिन्न तरह के वन्य जीवों की दुनिया से संपन्न है।
पार्क में हाथी, गुलदार, हिरण, चीतल, सांभर, मोर के साथ ही कई उन वन्य जीवों व पक्षियों को भी देखा जा सकता है। राजाजी टाइगर रिजर्व में हाथियों के साथ साथ अब बाघ भी अच्छी संख्या में मौजूद हैं। सैलानी इनका दीदार पार्क की चीला, मोतीचूर व हरिद्वार रेंज में कर सकते हैं। यहां जिम कॉर्बेट पार्क से पांच बाघ शिफ्ट किए गए जा चुके हैं।
शुल्क दरों में बदलाव नहीं..
पार्क में प्रवेश के लिए शुल्क इस बार भी बीते वर्ष की भांति रहेंगे। भारतीय पर्यटक से 150 रुपये, विदेशी से 600 रुपये, भारतीय वाहन से 250 जबकि विदेशी वाहन से 500 रुपये प्रवेश शुल्क लिया जाएगा। छात्रों के लिए आधा शुल्क माफ होगा। वन विश्राम भवन में एक रात्रि विश्राम शुल्क 1000 रुपये, डिजिटल व्यवसायिक कैमरा शुल्क 500, फीचर फिल्म निर्माण के लिए 100000 रुपये व वृत्त चित्र निर्माण पर 10000 रुपये शुल्क लिया जाएगा।
पीसीएस मुख्य परीक्षा स्थगित, हाईकोर्ट के आदेश के बाद राज्य लोक सेवा आयोग ने जारी की सूचना..
उत्तराखंड: प्रदेश में पीसीएस मुख्य परीक्षा को लेकर बीते कई दिनों से हिंदी माध्यम के अभ्यर्थी परीक्षा स्थगित करने की मांग कर रहे थे। जिसके बाद उत्तराखंड लोक सेवा आयोग ने पीसीएस की मुख्य परीक्षा को अग्रिम आदेशों तक स्थगित कर दिया है। उत्तराखंड पीसीएस मुख्य परीक्षा को लोक सेवा आयोग ने अग्रिम आदेशों तक स्थगित कर दिया है। गुरूवार शाम को आयोग द्वारा इसका आदेश भी जारी कर दिया गया है। बता दें कि लोक सेवा आयोग की पीसीएस मुख्य परीक्षा 16 से 19 नवंबर के बीच होनी थी। इसके लिए एडमिट कार्ड भी जारी कर दिए गए थे।
हाईकोर्ट के आदेश के बाद स्थगित हुई परीक्षा..
बता दें कि लोक सेवा आयोग ने पीसीएस मुख्य परीक्षा को हाईकोर्ट के आदेश के बाद स्थगित किया है। बता दें कि हिंदी माध्यम के अभ्यर्थी सिलेबस के बदलाव मामले को लेकर हाईकोर्ट पहुंचे थे। याचिका पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने कहा कि अभ्यर्थियों को 15 दिन का समय दिया जाना चाहिए।आयोग के सचिव गिरधारी सिंह रावत का कहना हैं कि 16 से 19 नवंबर के बीच हरिद्वार व हल्द्वानी के विभिन्न केंद्रों पर होने वाली परीक्षा को स्थगित कर दिया गया है। दोनों केंद्रों पर परीक्षा की नई तिथि की जानकारी जल्द ही वेबसाइट और समाचार पत्रों के माध्यम से जारी कर दी जाएगी।
स्मार्ट सिटी के कार्यों की शहरी विकास मंत्री ने की समीक्षा..
उत्तराखंड: स्मार्ट सिटी देहरादून को लेकर आज प्रदेश के शहरी विकास मंत्री डॉ प्रेम चन्द अग्रवाल ने बैठक की। शहरी विकास मंत्री ने विधानसभा स्थित सभागार कक्ष में स्मार्ट सिटी परियोजना और उससे संबंधित विभिन्न निर्माण कार्यों की समीक्षा की। इस दौरान उन्होंने कहा कि इसके ज्यादातर काम पूरा हो चुका है। जिसमें से क्रैश बिल्डिंग, मॉर्डन दून लाइब्रेरी, स्मार्ट वाटर एटीएम, परेड ग्राउण्ड रिनोवेशन, ड्रेन, स्मार्ट रोड सहित 19 कार्य पूर्ण हो चुके हैं जबकि ग्रीन बिल्डिंग का कार्य देर से शुरू होने के कारण अभी तक गतिमान है।
जल्द पूरा कर लिया जाएगा स्मार्ट सिटी का काम..
प्रेमचंद अग्रवाल ने अधिकारियों को स्मार्ट सिटी के शेष कार्यों में तेजी लाने के निर्देश दिए। उनका कहना हैं कि अक्टूबर 2025 तक ग्रीन बिल्डिंग का कार्य पूर्ण कर लिया जाएगा। शहरी विकास मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल ने कहा कि स्मार्ट सिटी के कार्य समयसीमा के अन्तर्गत पूर्ण किए गए हैं और जल्द ही सारे काम पूरे कर लिए जाएंगे। मंत्री ने स्मार्ट सिटी से जुड़े सभी विभागों के अधिकारियों और कर्मचारियों को आपसी समन्वय स्थापित कर स्मार्ट सिटी के शेष कार्यों में तत्परता दिखाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि शहर के 10 वार्डों में स्मार्ट सिटी के कार्य कराए गए हैं। जबकि 30 इलेक्ट्रिक बसों का संचालन 10 वार्डों से बाहर भी निरंतर किया जा रहा है तथा स्मार्ट सिटी द्वारा दी गए कूड़ा गाड़ी भी पूरे नगर निगम क्षेत्र में कार्य कर रही है।
शहर में काम कर रहे हैं 496 सीसीटीवी कैमरे..
मंत्री का कहना हैं कि स्मार्ट सिटी देहरादून के अन्तर्गत एक हजार करोड़ रूपए की धनराशि व्यय की जानी थी। जिसमें से 750 करोड़ रूपये विभिन्न विकास कार्यों में व्यय किए जा चुके हैं। उन्होंने शहर भर में लगाए गए सीसीटीवी कैमरों की भी। समीक्षा की जिसमें अधिकारियों द्वारा अवगत कराया गया कि शहर भर में लगभग 674 कैमरे लगाए गए हैं। जिसमें से लगभग 496 कैमरे सुचारू रूप से कार्य कर रहे हैं जबकि विभिन्न जगहों पर रोड कटिंग तथा अन्य कार्यों की वजह से शेष कैमरे कार्यरत नहीं हैं। जिस पर विभागीय मंत्री ने त्वरित कार्यवाही कर शेष कैमरों को सुचारू करने हेतु अधिकारियों को निर्देशित किया।